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8 Mukhi Rudraksha ke Fayde Aur Nuksan: क्या हैं आठ मुखी रुद्राक्ष के फायदे और नुकसान?, जानिए पहनने की विधि, नियम व मंत्र के बारे में

8 Mukhi Rudraksha ke Fayde Aur Nuksan
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आठ मुखी रुद्राक्ष के फायदे और नुकसान (8 Mukhi Rudraksha ke Fayde Aur Nuksan): आठ मुखी रुद्राक्ष (8 Mukhi Rudraksha) एक शक्तिशाली और पवित्र रत्न है, जो भगवान गणेश का प्रतीक है। यह रत्न व्यक्ति के जीवन में सुख-समृद्धि और शांति लाने में मदद करता है। आठ मुखी रुद्राक्ष पहनने से व्यक्ति को भगवान शिव की कृपा प्राप्त होती है और उनके जीवन में सकारात्मक ऊर्जा का संचार होता है। आठ मुखी रुद्राक्ष क्या होता है? इसके पहनने के फायदे और नुकसान कौन से हैं? इसका मंत्र क्या है? और इसके पहनने की विधि और नियम क्या है? इन सभी सवालों के जवाब जानने से पहले, यह जानना आवश्यक है कि आठ मुखी रुद्राक्ष क्यों इतना महत्वपूर्ण है। यह रत्न व्यक्ति के जीवन में भगवान शिव की कृपा को आकर्षित करता है और उनके जीवन को सुखमय बनाता है।

इस लेख में, हम आपको आठ मुखी रुद्राक्ष से जुड़े सभी सवालों के जवाब देंगे। हम आपको बताएंगे कि आठ मुखी रुद्राक्ष क्या है, इसके पहनने के फायदे और नुकसान कौन से हैं, इसका मंत्र क्या है, और इसके पहनने की विधि और नियम क्या है। 

तो आइए, आठ मुखी रुद्राक्ष के बारे में विस्तार से जानते हैं और  अपने जीवन को सुखमय बनाते हैं…

आठ मुखी रुद्राक्ष क्या है? (8 Mukhi Rudraksha kya Hai)

आठ मुखी रुद्राक्ष (8 Mukhi Rudraksha) हिंदू धर्म में एक अत्यंत शक्तिशाली और पवित्र माने जाने वाले रुद्राक्ष का एक प्रकार है। यह भगवान गणेश का प्रतीक है, जो विघ्नहर्ता और बुद्धि के देवता हैं। इस रुद्राक्ष को धारण करने से एकाग्रता में वृद्धि, आत्मविश्वास में बढ़ोतरी और समग्र कल्याण को बढ़ावा मिलता है। यह आध्यात्मिक विकास, बेहतर फोकस और स्वास्थ्य में सुधार चाहने वालों के लिए अक्सर अनुशंसित किया जाता है।

आठ मुखी रुद्राक्ष के फायदे और नुकसान (8 Mukhi Rudraksha ke Fayde Aur Nuksan)

आठ मुखी रुद्राक्ष (8 Mukhi Rudraksha) पहनने के फायदे:

  • आध्यात्मिक उन्नति और मानसिक शांति: आठ मुखी रुद्राक्ष पहनने से व्यक्ति की आध्यात्मिक जागरूकता में वृद्धि होती है। यह रुद्राक्ष विशेष रूप से भगवान गणेश की उपासना के लिए प्रयोग किया जाता है, जो समृद्धि और सफलता का प्रतीक हैं। इसे पहनने से मानसिक शांति और तनाव में कमी आती है, जिससे व्यक्ति की ध्यान और साधना में बेहतर परिणाम मिलते हैं।
  • शारीरिक स्वास्थ्य और सकारात्मक ऊर्जा: आठ मुखी रुद्राक्ष पहनने से शारीरिक स्वास्थ्य में सुधार होता है। यह रुद्राक्ष शरीर के विभिन्न अंगों और तंत्रिका तंत्र पर सकारात्मक प्रभाव डालता है, जिससे ऊर्जा के प्रवाह में संतुलन बनाए रखने में मदद मिलती है। यह हृदय रोग, उच्च रक्तचाप और अन्य बीमारियों से बचाव में सहायक हो सकता है।

आठ मुखी रुद्राक्ष के संभावित नुकसान:

  • सही तरीका न अपनाने पर हानि: यदि आठ मुखी रुद्राक्ष को उचित विधि और पूजा के बिना पहना जाए, तो यह इसके लाभकारी प्रभावों को उलट भी सकता है। इसके अशुद्ध होने पर या अपवित्र स्थिति में रखने पर यह नकारात्मक ऊर्जा उत्पन्न कर सकता है, जिससे मानसिक और शारीरिक स्वास्थ्य पर विपरीत प्रभाव पड़ सकता है।
  • आध्यात्मिक प्रभाव और ऊर्जा असंतुलन: कुछ लोगों के लिए, आठ मुखी रुद्राक्ष पहनने से अचानक मानसिक या आध्यात्मिक प्रभाव हो सकते हैं जो उनके लिए असहज हो सकते हैं। यदि व्यक्ति का मन और शरीर इस रुद्राक्ष के साथ समन्वय नहीं बनाते हैं, तो यह ऊर्जा असंतुलन का कारण बन सकता है, जिससे असामान्य भावनात्मक और मानसिक स्थितियाँ उत्पन्न हो सकती हैं।

आठ मुखी रुद्राक्ष पहनने की विधि व नियम (8 Mukhi Rudraksha Pehnne ki Vidhi Aur Niyam)

  • भगवान गणेश की विशेष कृपा प्राप्त करने के लिए आठ मुखी रुद्राक्ष (8 Mukhi Rudraksha) को बुधवार के दिन पहनना शुभ माना जाता है। इस दिन की शुरुआत सुबह जल्दी उठकर स्नान से करें। 
  • फिर, पूजन स्थल पर पूर्व दिशा की ओर मुख कर के बैठ जाएं। वहां एक तांबे के बर्तन में आठ मुखी रुद्राक्ष रखें और इस पर गंगाजल छिड़कें, जिससे इसकी पवित्रता और अधिक बढ़ जाए। 
  • इसके बाद, 108 बार ‘ऊं गणेशाय नम:’ या ‘ऊं हूं नम:’ मंत्र का जाप करें। 
  • मंत्र जाप के पश्चात, आठ मुखी रुद्राक्ष को लाल या पीले रेशमी धागे में बांध लें और उसे अपने गले या हाथ में पहनें। यदि चाहें, तो इसे चांदी या सोने की चेन में भी डाल सकते हैं। 
  • इस विधि से रुद्राक्ष पहनने से भगवान गणेश की विशेष कृपा प्राप्त होती है और जीवन में सुख-समृद्धि का मार्ग प्रशस्त होता है।

आठ मुखी रुद्राक्ष पहनने का मंत्र 8 Mukhi Rudraksha Pehnne ka Mantra)

8 मुखी रुद्राक्ष (8 Mukhi Rudraksha) पहनते समय “ओम हुं नमः” मंत्र का जाप करना चाहिए, क्योंकि यह राहु के नकारात्मक प्रभावों को समाप्त कर ज्ञान, बुद्धि, धन और सम्मान बढ़ाता है।

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Conclusion:-8 Mukhi Rudraksha ke Fayde aur Nuksan

आशा करते हैं की (आठ मुखी रुद्राक्ष के फायदे और नुकसान) से संबंधित यह बेहद खास लेख आपको पसंद आया होगा अगर आपके मन में किसी तरह का सवाल या सुझाव है तो कमेंट बॉक्स में जरुर दर्ज करें, हम जल्द से जल्द जवाब देने का प्रयास करेंगे। बाकि ऐसे ही रोमांचक लेख के लिए हमारी वेबसाइट जन भक्ति पर दोबारा विज़िट करें, धन्यवाद

FAQ’s

1. 8 मुखी रुद्राक्ष के क्या-क्या फायदे हैं?

8 मुखी रुद्राक्ष के धारण करने से मिलने वाले कुछ प्रमुख लाभ हैं:

  • बाधाओं को दूर करना: यह रुद्राक्ष जीवन में आने वाली चुनौतियों और रुकावटों को दूर करता है।
  • बुद्धि और निर्णय क्षमता में वृद्धि: गणेश जी के प्रतीक होने के कारण, यह रुद्राक्ष धारण करने से बुद्धि, स्मरणशक्ति, और निर्णय क्षमता बढ़ती है।
  • आध्यात्मिक उन्नति: इसे पहनने से मानसिक शांति और आध्यात्मिक विकास होता है।
  • वाणी में प्रभाव: इसे पहनने से व्यक्ति की वाणी में सकारात्मक प्रभाव आता है और दूसरों पर उसका असर बढ़ता है।

2. क्या 8 मुखी रुद्राक्ष धारण करने के कोई नुक्सान हैं?

अधिकांश लोगों के लिए 8 मुखी रुद्राक्ष के कोई सीधे नुकसान नहीं होते, लेकिन कुछ बातों का ध्यान रखना चाहिए:

  • सही विधि से धारण न करना: रुद्राक्ष को अगर शुद्धिकरण के बिना या सही विधि से न पहना जाए, तो इसका प्रभाव कम हो सकता है।
  • नियमों का पालन न करना: रुद्राक्ष धारण करते समय शुद्धता और नियमों का पालन न करना नकारात्मक परिणाम दे सकता है। इसे धारण करने से पहले हवन, पूजा, और मंत्रोच्चार आवश्यक होते हैं।
  • उपयुक्त राशि न होना: हर रुद्राक्ष हर राशि के लोगों के लिए उपयुक्त नहीं होता। इसलिए, इसे किसी ज्योतिषी या विशेषज्ञ से परामर्श करने के बाद ही धारण करें।

3. कौन-कौन लोग 8 मुखी रुद्राक्ष धारण कर सकते हैं?

यह रुद्राक्ष विशेष रूप से उन लोगों के लिए फायदेमंद है जो शिक्षा, व्यापार या किसी चुनौतीपूर्ण कार्य में लगे हुए हैं। जिनका चंद्रमा या राहु अशुभ हो, वे भी इसे धारण कर सकते हैं। विद्यार्थी, व्यापारिक लोग, और जो लोग मानसिक शांति चाहते हैं, वे इसे धारण कर सकते हैं।

4. 8 मुखी रुद्राक्ष कब और कैसे धारण करें?

  • धारण करने का समय: इसे सोमवार या बुधवार को सूर्योदय के समय धारण करना सबसे अच्छा माना जाता है।
  • पूजा विधि: इसे धारण करने से पहले भगवान गणेश की पूजा करें और रुद्राक्ष को गाय के दूध और गंगाजल से स्नान कराएं। इसके बाद “ॐ हं हं नमः” मंत्र का 108 बार जाप करते हुए इसे पहनें।

5. क्या महिलाएं 8 मुखी रुद्राक्ष धारण कर सकती हैं?

हाँ, महिलाएं भी 8 मुखी रुद्राक्ष धारण कर सकती हैं, बशर्ते वे इसे सही समय और विधि के अनुसार धारण करें। विशेष स्थिति जैसे मासिक धर्म के दौरान इसे पहनने से बचना चाहिए।

6. क्या 8 मुखी रुद्राक्ष को लगातार पहनना चाहिए?

हाँ, इसे लगातार धारण करने की सलाह दी जाती है। इसे सोते समय, नहाते समय या किसी धार्मिक अनुष्ठान के दौरान भी धारण किया जा सकता है। लेकिन इसे अशुद्ध स्थानों पर पहनने से बचें।

7. क्या 8 मुखी रुद्राक्ष सभी के लिए उपयुक्त है?

अधिकांश लोगों के लिए यह लाभकारी होता है, लेकिन इसे धारण करने से पहले ज्योतिषी से सलाह लेना जरूरी है। जिनकी कुंडली में राहु या चंद्रमा की स्थिति कमजोर हो, उनके लिए यह विशेष रूप से फायदेमंद होता है।

8. 8 मुखी रुद्राक्ष की पहचान कैसे करें?

असली 8 मुखी रुद्राक्ष की पहचान उसकी स्पष्ट 8 धारियों (मुख) से की जा सकती है। यह हल्का और गोल आकार का होता है। इसे खरीदते समय प्रमाणित विक्रेता से ही लें ताकि आपको असली रुद्राक्ष मिले।